मेघालय में उग्रवादियों ने एक मंदिर पर बम्ब फेंका

मेघालय के ईस्ट गारो हिल्स जिले के एक मंदिर पर संदिग्ध उग्रवादियों ने एक ग्रेनेड फेंक दिया।

पुलिस ने आज बताया कि जिला मुख्यालय शहर में विलीमनगर के वरीमा बाजार इलाके में स्थित एक दुर्गा मंदिर पर कल देर रात चीन में निर्मित एक ग्रेनेड फंेका गया।

ग्रेनेड फेंके जाने के कारण मंदिर का फर्श आंशिक रूप से क्षतिग्रस्त हो गया और दीवार खराब हो गयी। पुलिस ने बताया कि इस हमले के पीछे गारो नेशनल लिबरेशन आर्मी का हाथ होने की आशंका है।

एक दिन पहले पुलिस उपायुक्त प्रवीण बख्शी ने बताया था ‘‘उग्रवादी भय का माहौल पैदा करना चाहते हैं। ऐसी खबरें हैं कि जीएनएलए के उग्रवादी जिला मख्यालय शहर में विध्वंसक गतिविधियों को अंजाम देने के लिए चोरी छिपे घुस गये हैं।’’

कांग्रेसी नेता संजय निरूपम के खिलाफ बिहार में FIR

पटना के फतुहा विधानसभा क्षेत्र में कल एक चुनावी जनसभा के दौरान जद :यू: के राष्ट्रीय अध्यक्ष शरद यादव और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी करने को लेकर कांग्रेसी नेता संजय निरूपम के खिलाफ आज स्थानीय थाना में प्राथमिकी दर्ज की गई

फतुहा के प्रखंड विकास पदाधिकारी रामाकांत ने बताया कि संजय निरूपम के खिलाफ उक्त प्राथमिकी निर्वाची पदाधिकारी सह डीआरडीए के निदेशक खुर्शीद आलम के निर्देश पर आज स्थानीय थाना में दर्ज करायी गयी ।

उन्होंने बताया कि निरूपम ने कल फतुहा उच्च विद्यालय मैदान में आयोजित एक जनसभा को संबोधित करते हुए जद :यू: के राष्ट्रीय अध्यक्ष शरद यादव और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी की थी और कहा कि उन्हें गंगा में बहाने से वह अपवित्र हो जाएगी इसलिए उन्हें बंगाल की खाड़ी में बहा दिया जाए।

फतुहा के पुलिस निरीक्षक नवल किशोर ने बताया कि निरूपम के खिलाफ उक्त प्राथमिकी भादवि की धारा 188 और जनप्रतिनिधि अधिनियम 127 के तहत दर्ज करायी गयी है।

कर्नाटक में उच्च अदालत ने 11 बाग़ी विधायकों निलंबन को सही ठहराया

कर्नाटक में उच्च अदालत ने भारतीय जनता पार्टी के 11 बाग़ी विधायकों के निलंबन के फ़ैसले को सही ठहराया है.

कर्नाटक में इस मामले में हाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश के फ़ैसले से बाक़ी जजों ने अपनी सहमति जताई है.दस अक्टूबर को विश्वास मत से पहले राज्य विधानसभा के स्पीकर ने भाजपा के 11 बाग़ी विधायकों और पाँच निर्दलीय विधायकों को दल-बदल कानून के तहत निलंबित कर दिया था.

कर्नाटक विधान सभा के 11 ‘अयोग्य’ भारतीय जनता पार्टी विधायकों के मामले पर बंगलौर हाई कोर्ट की एक नई पीठ को दोबारा सुनवाई करनी पड़ी क्योंकि पहले की पीठ में जजों के बीच फ़ैसले पर मतभेद हो गया था.अभी पाँच निर्दलीय विधायकों के मामले की सुनवाई एक तीसरी बेंच दो नवंबर को करेगी.

सीबीआई को चपत, अमित शाह को जमानत

गुजरात हाई कोर्ट ने पूर्व गृहराज्य मंत्री अमित शाह को सोहराबुद्दीन फर्जी मुठभेड़ मामले में जमानत दे दी। इससे
पहले बुधवार को अदालत ने शुक्रवार तक के लिए फैसला सुरक्षित रख लिया था।

शुक्रवार को अदालत ने शाह को जमानत पर रिहा करने का आदेश दिया। अदालत ने शाह के वकील राम जेठमलानी की इस दलील को स्वीकार कर लिया कि शाह सार्वजनिक जीवन में हैं और इसलिए उनके गायब होने या सीबीआई के साथ सहयोग न करने की कोई संभावना नहीं है। इसलिए उन्हें जमानत न दिए जाने का कोई कारण नहीं है।

अदालत में सुनवाई के दौरान जेठमलानी ने कहा था कि शाह के खिलाफ अब तक सिर्फ राजनीतिक जांच ही हुई है। उनके खिलाफ कोई आपराधिक जांच नहीं हुई है।

बीजेपी ने इस फैसले का स्वागत किया है। बीजेपी प्रवक्ता प्रकाश जावड़ेकर ने कहा कि हमारा शुरू से न्यायिक प्रक्रिया में विश्वास था और हम यह भी जानते थे कि शाह के खिलाफ राजनीतिक साजिश अदालत में नहीं टिकेगी। अदालत के आज के फैसले ने हमारे विश्वास को मजबूती दी है।

केंद्रीय मंत्री शंकर सिंह वाघेला ने इसे न्यायिक प्रक्रिया का हिस्सा बताते हुए कहा कि वह इस पर कोई कॉमेंट नहीं कर सकते। हालांकि उन्होंने भरोसा जताया कि सीबीआई इस फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट जाएगी।

अरुंधति राय को राष्ट्रद्रोह व देशनिकाला की सजा मिलना चाहिए - प्रभात झा

मध्यप्रदेश भारतीय जनता पार्टी अध्यक्ष एवं राज्यसभा सदस्य प्रभात झा ने अरुंधति राय द्वारा कश्मीर पर दिए गए कथित विवादास्पद बयान पर चिंता जाहिर करते हुए केन्द्रीय गृह मंत्री पी. चिदंबरम से उनके खिलाफराष्ट्रद्रोहका मुकदमा चलाने, उनकीनागरिकता समाप्तकरने तथादेशनिकालाजैसी कार्रवाई की मांग की है।

झा ने आज चिदंबरम को भेजे एक पत्र में कहा है कि इसके साथ ही अरुंधति को दिए गए सभी सम्मान एवं उपाधियां तत्काल वापस लेना चाहिए। उनके समर्थन में जो लोग ‘प्रोपेगंडा’ के लिए काम कर रहे हैं, उन पर भी राष्ट्रद्रोह का मुकदमा चलाया जाए।

उल्लेखनीय है कि अरुंधति ने गत रविवार श्रीनगर में एक कार्यक्रम में कहा था, ‘‘कश्मीर कभी भारत का अभिन्न अंग नहीं रहा है। यह ऐतिहासिक तथ्य है। यहां तक कि भारत सरकार ने भी इसे स्वीकार किया है’’।

प्रदेश भाजपा अध्यक्ष ने लिखा है कि वह यह पत्र ‘भाजपा कार्यकर्ता’ के नाते नहीं, ‘भारतीय’ होने के नाते भेज रहे हैं। उन्होने कहा कि जिस अरुंधति ने इस देश की धरती पर जन्म लिया और जिस देश के नागरिकों एवं संविधान ने इतना सम्मान दिया, उसी ने हमारे देश से दगा किया। आश्चर्य इसका है कि उनके जैसे सक्षम गृह मंत्री भी ‘राष्ट्रद्रोह’ एवं ‘अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता’ में अंतर नहीं कर पा रहे हैं।

उन्होने कहा कि भारत का ही कोई व्यक्ति उसका ही नमक खाकर, देश में ही रहकर उसका अपमान करे, यह बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।

राजस्थान के चिकित्सा मंत्री खान को काले झण्डे दिखाये

राजस्थान के चिकित्सा मंत्री खान को आज एम्बुलेंस 108 की सेवा से हटाये गये कर्मचारियों ने काले झण्डे दिखाये

पुलिस सेत्रों के अनुसार एक कंपनी के एम्बुलेंस सेवा के पूर्व कम्रचारियों ने खान को उस समय काले झंडे दिखाए जब वह आज जीपीएस सुविधा युक्त एम्बुलेंस सेवा 108 के गाड़ियों को हरी झंडी दिखाकर रवाना कर रहे थे । उन्होंने बताया कि पूर्वकर्मी अपनी बहाली की मांग को लेकर आंदोलन कर रहे हैं ।

सूत्रों के अनुसार इस बारे में फिलहाल मुकदमा दर्ज नहीं हुआ है ।

गोवा की जमीन लूट रही कांग्रेस : भाजपा

भाजपा ने आज आरोप लगाया कि केंद्रीय मंत्री कमलनाथ और गोवा के मुख्यमंत्री दिगंबर कामत राज्य को प्रस्तावित राष्ट्रीय राजमार्ग परियोजना के लिये भूमि अधिग्रहण करने की प्रक्रिया के जरिये लूट रहे हैं।

गोवा में विपक्ष के नेता मनोहर पार्रिकर ने कहा, ‘‘कमलनाथ, गोवा के मुख्यमंत्री कामत और कंपनी :एनएचएआई: राष्ट्रीय राजमार्ग विस्तार के मामले में आदर्श प्रक्रिया का पालन नहीं कर रहे हैं।’’ उन्होंने दावा किया, ‘‘वे राष्ट्रीय राजमार्ग विस्तार परियोजना को राष्ट्रमंडल खेलों की बुनियादी संरचना के निर्माण में हुए घोटाले की तरह तब्दील कर रहे हैं ताकि राज्य को लूटा जा सके।’

नीतीश कुमार हर नाकामी का दोष केंद्र पर मढ़ते हैं - सोनिया गांधी

कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने यहां नीतीश कुमार सरकार पर हमला बोलते हुए आज कहा कि बिहार में केंद्र प्रायोजित योजनाओं का लाभ आम आदमी तक नहीं पहुंचा है।

बिहार के भागलपुर में नाथनगर में कांग्रेस प्रत्याशी के समर्थन में एक चुनावी सभा में सोनिया ने कहा कि केंद्र सरकार ने बिहार को जो संसाधन मुहैया कराये गए उनका इस्तेमाल यहां :राजग: की सरकार ने नहीं किया।

बिहार में चुनाव प्रचार के अपने दूसरे पड़ाव में सोनिया ने नीतीश सरकार के कामकाज पर सवाल करते हुए कहा, ‘‘उनकी यह आदत रही है कि वे बीते पांच वष्रो से अपनी हर नाकामी का दोष केंद्र पर मढ़ते रहे हैं।’’ उन्होंने यहां जनता से कहा कि इस चुनाव में एक तरफ कांग्रेस है जो आम आदमी की भलाई और उसका उत्थान करती है दूसरी तरफ वे लोग हैं जो बड़े बड़े वादे करते हैं और केवल सपने दिखाते हैं।

दलित नेताओं ने किया गाँधी परिवार के सदस्यों की समाधि का बहिष्कार

बाबा साहब अंबेडकर की परिनिर्माण भूमि को राजघाट के बराबर दर्जा दिलाने के लिए कांग्रेस और बीजेपी सहित अन्य दलों से संबंध रखने वाले दलित सांसद और मंत्री गांधी परिवार के सदस्यों की समाधि और बापू की समाधि राजघाट का बहिष्कार करेंगे।

उन्होंने कहा कि अगर महात्मा गांधी को राष्ट्रपिता माना जाता है तो डॉ. अंबेडकर को भी राष्ट्र के संविधान का पिता माना जाता है। केंद्र सरकार दिल्ली आ रहे अमेरिका के राष्ट्रपति बराक ओबामा को राजघाट पर ले जाने का कार्यक्रम तय कर रही है। उनकी मांग है कि बराक ओबामा को अंबेडकर की परिनिर्माण भूमि पर ले जाया जाए।

समिति के राष्ट्रीय संयोजक टीएम कुमार ने कहा कि जब तक उनकी मांग पूरी नहीं होती तब तक पूर्व केंद्रीय मंत्री सत्य नारायण जटिया , पूर्व केंद्रीय मंत्री राम विलास पासवान, पूर्व लोकसभा उपाध्यक्ष चरणजीत सिंह अटवाल, पूर्व सांसद थावर चंद गहलोत, राष्ट्रीय अध्यक्ष जस्टीस पार्टी के डॉ. उदित राज, पूर्व केंद्रीय मंत्री योगेंद्र मकवाना, पूर्व चेयरमेन राष्ट्रीय अजा आयोग के एच हनुमन थप्पा , रामदास अठवाले, सांसद जीडी सीलम, टीएम कुमार, सांसद अशोक अर्गल, विधायक आत्माराम भाई आदि सहित अन्य दलित नेता बापू की समाधि और गांधी परिवार के सदस्यों की समाधि का बहिष्कार करेंगे।

उन्होंने बताया कि यदि केंद्र सरकार उनकी मांग नहीं मानती तो देश के सभी राज्यों में धरना प्रदर्शन करते हुए भोपाल में 31 अक्टूबर बोर्ड आफिस चौराहे पर धरना प्रदर्शन करेंगे और 6 दिसंबर को को दिल्ली में राष्ट्रीय सम्मान रैली निकाली जाएंगी।

मोदी ने सांप्रदायिकता और वोट बैंक की राजनीति से लड़ाई लड़ी - नजमा हेपतुल्ला

गुजरात के मुख्यमंत्री नरेन्द्र मोदी का जादू हर जगह नहीं चलने की भाजपा की वरिष्ठ नेता सुषमा स्वराज की टिप्पणी से उपजे विवाद पर सफाई देते हुए पार्टी ने बुधवार को कहा कि मोदी राष्ट्रीय स्तर के नेता हैं और दादरा नगर हवेली में हुई जीत का सेहरा उन्हीं के सिर जाता है।

भाजपा की उपाध्यक्ष नजमा हेपतुल्ला ने कहा कि दादरा और नगर हवेली के स्थानीय निकाय चुनावों में भाजपा के पक्ष में लहर नरेन्द्र भाई के प्रभाव से बही। इस केन्द्रीय शासित क्षेत्र की प्रभावी नजमा ने वहाँ पहली बार भाजपा की जीत का श्रेय मोदी के व्यक्तित्व और उनके द्वारा गुजरात में किए गए विकास कार्यों को दिया।

कट्टर हिन्दुत्व चेहरे के रूप में जाने जाने वाले और गोधरा कांड के बाद गुजरात में फैले दंगों के लिए जिम्मेदार बताए जाने वाले मोदी का बचाव करते हुए हेपतुल्ला ने कहा कि मोदी ने तो सांप्रदायिक और वोट बैंक की राजनीति से लड़ाई लड़ी है।

दादरा नगर हवेली में भाजपा की जीत का पूरा श्रेय मोदी को देते हुए उन्होंने कहा कि गुजरात से सटा होने के कारण इस केन्द्रीय शासित क्षेत्र में उनका प्रभाव है।

वहाँ मौजूद पार्टी प्रवक्ता प्रकाश जावड़ेकर ने इसका जवाब देते हुए कहा कि निस्संदेह, मोदी राष्ट्रीय स्तर के नेता हैं, लेकिन वे बिहार में की गई सुषमा की इस टिप्पणी पर चुप्पी साध गए कि मोदी का जादू हर जगह नहीं चल सकता।

कांग्रेस के आशीर्वाद के चलते अरूंधति राय पर कोई मुकदमा नहीं

अरूंधति राय की विवादास्पद टिप्पणी (कश्मीर भारत का हिस्सा नहीं) के मामले में उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग को लेकर विवाद हो गया है। एक ओर जहां इस मामले में केन्द्र का रवैया ठंडा नजर आ रहा है, वहीं दूसरी ओर भाजपा कार्रवाई को लेकर अड़ गई है।

इस मामले से कांग्रेस बुधवार को साफ बच निकली। पार्टी प्रवक्ता मनीष तिवारी ने कहा, मैं तिलक मार्ग थाने का थानेदार नहीं हूं। मैं कैसे कह सकता हूं कि राय के खिलाफ किस तरह का मामला बनाया जा सकता है। फिलहाल तमाम विवादों के बाद भी राय पर देशद्रोह का मुकदमा नहीं चलेगा क्योंकि अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा की भारत यात्रा के कारण सरकार कश्मीर मसले पर कोई बवाल खड़ा नहीं करना चाहती है।

राय के खिलाफ तीन जगह मामले दर्ज कराए जा चुके हैं। रांची में आशीष कुमार सिंह ने, नैनीताल में पुष्करसिंह धामी ने तो वाराणसी में अशोक पाण्डेय ने मामला दर्ज कराया है। इस बीच, प्रतिबंघित संगठन लिट्टे का समर्थन करने वाली विडुदलै चीरतै कच्ची पार्टी राय के बचाव में आगे आई है।

भारत के लिए खतरे की घंटी, चीन ने किया तिब्बत में सैन्य अभ्यास

चीन ने भारत को भड़काने की एक और कोशिश की है। उसने भारत से सटे तिब्बत के इलाके में जमीनी और हवाई सेना का पहला साझा सैन्य अभ्यास किया। इसमें हथियारों का भी बड़े पैमाने पर इस्तेमाल किया गया। इस अभ्यास में लड़ाकू विमान, हमला करने वाले हेलीकॉप्टर और टैंकों के अलावा कई आधुनिक हथियारों का इस्तेमाल किया गया। इस अभ्यास के बारे में जानकारी उसने ऐसे समय सार्वजनिक की है, जब हनोई में चीनी और भारतीय प्रधानमंत्री की मुलाकात होनी है। इस मुलाकात में भारत तमाम विवादित मुद्दे उठाने की तैयारी में है।

चीन भारत के खिलाफ अपना रवैया लगातार आक्रमक कर रहा है। चीन ने मंगलवार को भारत को साफ कर दिया कि भारत के नियंत्रण वाले कश्मीर के नागरिकों को वीजा नीति में वह कोई बदलाव नहीं करेगा। इसके बाद चीन ने खुलासा किया कि उसने भारतीय सीमा के करीब तिब्बत में सैन्य अभ्यास किया है।

चीनी सेना के मुखपत्र 'लिबरेशन आर्मी डेली' में कहा गया है कि अभ्यास तिब्बत के पठारों में किया गया लेकिन उसमें स्थान की स्पष्ट जानकारी नहीं दी गई है। अखबार के अनुसार सैन्य अभ्यास समुद्री सतह से 15,420 फीट की ऊंचाई पर किया गया।

चीनी सेना की तिब्बत में बड़े पैमाने पर उपस्थिति और सैन्य गतिविधियां भारत के लिए चिंता का विषय है। चीन ने भारत के साथ सीमा विवाद सुलझाने की कभी गंभीर कोशिश नहीं की। चीन भारत के हिस्से अरुणाचल प्रदेश को दक्षिणी तिब्बत मानता है, और इसपर दावा जताता है। चीन ने तिब्बत में न केवल सैन्य उपयोग के लिए हवाई अड्डे बनाए हैं, वह बड़े पैमाने पर वहां सड़क निर्माण भी कर रहा है।

भारत भी इस खतरे को भांप रहा है। भारत ने भी अपनी तरफ की सीमा पर सड़क निर्माण तेज किया है, लेकिन चीन अभी भी आगे है। चीन ने तिब्बत को अशांत इलाका बताते हुए बड़े पैमाने पर सुरक्षा बल तैनात किया है। लेकिन भारत समझता है कि इसका इस्तेमाल समय आने पर भारत के खिलाफ ही किया जाएगा। और अब इस इलाके में बढ़ता सैन्य अभ्यास खतरे की घंटी हो सकती है। तिब्बत और भारत की सीमाएं लगी हुई हैं और हाल ही में हुआ यह सैन्य अभ्यास भारत के लिए ही खतरा है।

कश्मीर वार्ताकार भी मांग रहे कश्मीर के लिए आज़ादी ?

जम्मू-कश्मीर के लिए केंद्रीय गृह मंत्रालय द्वारा नियुक्त तीन वार्ताकारों की टीम ने एक और विवादास्पद बयान दिया है। वार्ताकारों में शामिल राधा कुमार ने भारतीय संविधान में संशोधन किए जाने की तरफ इशारा करते हुए कहा है कि संविधान में कश्मीर के लिए 'आज़ादी का विकल्प' होना चाहिए।

बुधवार को तीन वार्ताकारों की टीम ने घाटी की चार दिनों की यात्रा पूरी कर ली। यात्रा की समाप्ति पर मीडिया से बातचीत करते हुए राधा कुमार ने कहा, 'भारतीय संविधान एक शानदार दस्तावेज है और उसमें बदलते वक्त के साथ बदलाव की गुंजाइश है। और हम संविधान में संशोधन की सिफारिश भी कर सकते हैं ताकि कश्मीर के मुद्दे पर बातचीत हो सके जिससे कश्मीरी अवाम की इच्छा और महत्वाकांक्षाओं के मुताबिक समस्या का मुकम्मल समाधान हो सके।' वार्ताकारों की टीम में राधा कुमार के अलावा दिलीप पडगांवकर और एम.एम. अंसारी शामिल हैं।

राधा कुमार के मुताबिक संविधान में 400 से ज़्यादा बार संशोधन किया जा चुका है और अगर इसमें आगे भी बदलाव किया जाए तो इसमें कोई बुराई नहीं है। हालांकि, राधा कुमार ने कहा कि यह उनकी निजी सोच है। भारत के संविधान के साथ-साथ जम्मू-कश्मीर का संविधान भी जम्मू-कश्मीर को भारत का अभिन्न अंग बताता है।

वार्ताकारों की टीम के अगुवा दिलीप पडगांवकर ने पत्रकारों से बातचीत में उम्मीद जताई कि पाक के कब्जे वाले कश्मीर के नेताओं को भी कश्मीर समस्या के समाधान की कोशिशों में शामिल किए जाने की इच्छा जाहिर की। दिलीप ने कहा, 'हां, हम लोग पाक के कब्जे वाले कश्मीर का भी दौरा करना चाहेंगे और वहां के सियासी नेतृत्व से चर्चा करना चाहेंगे ताकि हम इस मसले पर उनके नजरिए को जान सकें। लेकिन जम्मू-कश्मीर के कुछ हिस्से में लोग उस तरह से नहीं सोचते हैं जैसे कश्मीर घाटी के लोग सोच रहे हैं।'

स्विस बैंक में जमा काले धन के बारे में सरकार ने आजतक कोई जानकारी ही नहीं मांगी

भारत ने अभी तक स्विटजरलैंड सरकार से स्विस बैंक में पैसा जमा करने वाले भारतीयों के बारे में बताने के लिए कोई आवेदन नहीं किया है।

यह बात भारत में स्विटजरलैंड के राजदूत फिलिप वेटी ने बुधवार को कही। वेटी भारतीय उद्योग परिसंघ (सीआईआई) के द्वारा आयोजित एक निवेश संवर्द्धन कार्यक्रम में शिरकत करने के लिए चेन्नै आये थे। उन्होंने कहा कि यह भारत को तय करना है कि वह नए समझौते के तहत किन के बैंक आंकड़ों की जानकारी के लिए आवेदन करना चाहता है।

भारत और स्विटजरलैंड ने इस साल अगस्त में डबल टैक्सेसन अवॉयडेंस समझौते पर हस्ताक्षर किया है। इसके तहत सरकार भारतीयों द्वारा स्विस बैंक में जमा किये जाने वाले पैसे की जानकारी ले सकती है।

माना जाता है कि बड़ी संख्या में भारतीयों ने स्विस बैंक में पैसा जमा कर रखा है। दोनों देशों के बीच हुए व्यापार समझौते का जिक्र करते हुए उन्होंने पत्रकारों से कहा कि भारतीय कम्पनी स्विटजरलैंड की छोटी-मझोली कम्पनियों के साथ साझीदारी कर सकती है, जिन्हें अपने कारोबार का योग्य उत्तराधिकारी खोजने में काफी मुश्किलें आ रही है। उन्होंने कहा कि स्विटजरलैंड की अर्थव्यवस्था का 90 फीसदी हिस्सा छोटी मझोली कम्पनियों का है।

टैक्स चोर भी है देशद्रोही सैयद अली शाह गिलानी

भारत सरकार को पानी पी-पीकर कोसने वाले अलगाववादी कश्मीरी नेता सैयद अली शाह गिलानी टैक्स डिफॉल्टर भी हैं। राष्ट्रद्रोह मामले में सरकार भले ही उनपर केस दर्ज करने से हिचकिचा रही है, लेकिन इनकम टैक्स डिपार्टमेंट ने उन्हें करीब पौने दो करोड़ बकाया टैक्स चुकाने का फरमान सुना दिया है।

इनकम टैक्स डिपार्टमेंट की टीम ने गिलानी और उनके रिश्तेदारों के घरों पर सन् 2002 में छापा मारा था। इसमें पाकिस्तान सरकार की ओर से तोहफे में दी गई हीरे की घड़ी समेत कई कीमती चीजें बरामद हुई थीं। डिपार्टमेंट ने इन सामानों पर गिलानी को डेढ़ करोड़ रुपये का टैक्स भरने के लिए कहा था। इस पर गिलानी ने इनकम टैक्स कमिश्नर से अपील की थी कि जम्मू-कश्मीर सरकार की ओर से मिलने वाले पेंशन और खेती की जमीन से कमाई छोड़कर उनके पास आमदनी का कोई जरिया नहीं है, लिहाज टैक्स माफ कर दिया जाए।

यह केस करीब साढ़े तीन चला और बाद में उनकी अपील खारिज हो गई। इसके बाद अब गिलानी को इस साल के अंत तक बकाया 1.73 करोड़ रुपये टैक्स भरने के लिए कहा गया है। हालांकि, गिलानी के पास अभी भी इनकम टैक्स ट्राइब्यूनल के पास जाने का विकल्प बचा हुआ है।

9 जून, 2010 को गिलानी के यहां मारे गए छापे में 10.2 लाख रुपये और 10 हजार अमेरिकी डॉलर के साथ-साथ महंगी जूलरी खरीदने के सबूत के तौर पर कई रसीदें मिली थीं। इसके अलावा जमीन और गाड़ियां खरीदने के कागजात भी बरामद हुए थे। आमदनी के तौर पर गिलानी ने पूर्व विधायक के रूप में मिलने वाले पेंशन के अलावा खेती से सालाना 10 हजार रुपये की कमाई दिखाई थी। आईटी अधिकारियों के गले यह बात नहीं उतरी कि इतनी कम आमदनी में इतने महंगे सामान और गाड़ियां आदि खरीदी जा सकती हैं।

आईटी अधिकारियों ने तब आकलन किया था गिलानी के घर में हर महीने एक से डेढ़ लाख रुपये खर्च किया जा रहा है। उनके घर में 15 नौकर थे और उनकी पत्नी ने खुद कहा था कि रसोई में ही 25 हजार रुपये महीने खर्च हो जाते हैं।

नक्सलियों के भेदिये के आरोपी पूर्व रीडर सलीम के घर छापा

बिहार के मुंगेर जिले में नक्सलियों के साथ सांठगांठ के आरोप में गिरफ्तार पुलिस अधीक्षक के पूर्व रीडर मोहम्मद सलीम एहसान के घर पर आज पुलिस ने छापेमारी की।

पुलिस सूत्रों ने बताया कि नक्सलियों का भेदिया होने के आरोप में जेल में बंद सलीम के घर से एक दोनाली बंदूक और एक राइफल बरामद किया गया।

सलीम को 25 अक्तूबर को पुलिस ने गिरफ्तार किया था। छापेमारी की पुष्टि करते हुए पुलिस अधीक्षक एम सुनील नायक ने कहा कि सलीम के घर से एक दोनाली बंदूक और एक राइफल बरामद हुआ है।

पुलिस सूत्रों ने कहा कि नक्सलियों और सलीम के बीच संपर्कसूत्र के रूप में काम करने के आरोप में घटवारी पंचायत के मुखिया अजय यादव को भी पुलिस ने हिरासत में लिया है और उससे पूछताछ की जा रही है।

भाजपा नेता ने नैनीताल में अरुंधती के खिलाफ लिखित शिकायत की

उत्तराखण्ड के नैनीताल जिले में भारतीय जनता पार्टी के एक नेता ने प्रसिद्ध लेखिका अरूधंति राय द्वारा कश्मीर के बारे में की गई टिप्पणी के खिलाफ थाने में लिखित शिकायत दर्ज कराई है ।

पुलिस सूत्रों ने आज यहां बताया कि राज्य नगर विकास अनुश्रवण परिषद के उपाध्यक्ष पुष्करसिंह धामी ने मल्लीताल थाने में कल लिखित शिकायत की है ।

थाना प्रभारी बी एस धोनी ने बताया कि पुलिस इस मामले में कानूनी सलाह ले रही है ।

कांग्रेस, राजद और लोजपा में परिवारवाद के चलते भ्रष्टाचार - गडकरी

जब तक कांग्रेस, राजद और लोजपा में परिवारवाद रहेगा, तब तक भुखमरी, बेरोजगारी, भ्रष्टाचार को दूर नहीं किया जा सकता। कांग्रेस में अध्यक्ष पद नेहरू-गांधी परिवार के लिए आरक्षित है, जबकि पोस्टर चिपकाने वाला साधारण कार्यकर्ता भाजपा का राष्ट्रीय अध्यक्ष है। यह बात भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष नितिन गडकरी ने मंगलवार को भागलपुर और लखीसराय में राजग प्रत्याशियों के समर्थन में आयोजित जनसभाओं में कही।

उन्होंने कहा कि कांग्रेस तथा राजद के कुशासन ने बिहार का बेड़ा गर्क कर दिया था। चारों ओर अराजक स्थिति थी। अपहरण, हत्या, दुष्कर्म का उद्योग चल रहा था। राजद के शासनकाल में जहां विकास दर शून्य से दसमलव पांच प्रतिशत नीचे थी, वहीं राजग के मात्र पांच वर्ष के शासन काल में ही यह बढ़कर 11 प्रतिशत से ज्यादा हो गई। इन पांच वर्ष में बिहार की ख्याति बढ़ी है। इसलिए राजग को बिहार में सरकार बनाने का एक मौका और दिया जाना चाहिए।

मैं तो न्याय की बात कर रही हूँ - अरुंधति रॉय

अरुंधति रॉय ने मंगलवार को श्रीनगर से जारी बयान में कहा है,'' मैंने आज सुबह के अख़बारों को देखा जिसमें लिखा हुआ था कि श्रीनगर की सार्वजनिक सभाओं में मैंने जो कहा है, उसके लिए मुझे देशद्रोह के आरोप में गिरफ़्तार किया जा सकता है.''
अरुंधति कहना था,'' मैंने जो कहा है वो लाखों लोग हर दिन कहते हैं. मैंने जो कहा है जो टीकाकार वर्षों से लिखते और कहते आए हैं. यदि कोई मेरे भाषणों को गौर से देखे तो उनसे पता चलेगा, उनमें मूलरूप से न्याय की बात है.''

अरुंधति का कहना है,'' मैंने कश्मीरी लोगों के लिए न्याय की माँग की है जो दुनिया के सबसे नृशंस सैन्य शासन में रहते हैं... भारतीय ग़रीब इस सबकी कीमत अदा कर रहा है.'' '' ये दुखद है कि देश उन लेखकों को चुप करा देना चाहता है जो अपनी बात कहना चाहते हैं. ये दुखद है कि जो न्याय चाहते हैं, उन्हें ये देश जेल भेज देना चाहता है जबकि सांप्रदायिक दंगे करवाने वाले, नरसंहार करने वाले, कॉरपोरेट घोटाले करने वाले, लुटेरे, बलात्कारी और ग़रीबों पर जुल्म ढहाने वाले खुले घूम रहे हैं.''

ग़ौरतलब है कि पिछले दिनों अरुंधति रॉय ने श्रीनगर में एक सेमिनार के दौरान कहा था, " कश्मीर कभी भी भारत का अभिन्न अंग नहीं रहा है. यह ऐतिहासिक तथ्य है. भारत सरकार ने भी इसे स्वीकार किया है."

उन्होंने आरोप लगाया था कि ब्रितानी शासन से आज़ादी के बाद भारत ख़ुद औपनिवेशिक शक्ति बन गया है.

बाबरी ढांचे विध्वंस मामले की अगली सुनवाई 18 नवंबर को

बाबरी मस्जिद विध्वंस मामले की सुनवाई कर रही है सीबीआई की विशेष अदालत ने अगली सुनवाई के लिए मंगलवार को 18 नवंबर की तारीख तय की है।

अभियोजन पक्ष के अनुसार निजी कारणों से आज होने वाली सुनवाई स्थगित करने के बचाव पक्ष के अधिवक्ता हरिदत्त शर्मा की अर्जी पर सीबीआई अदालत के न्यायाधीश अपर मुख्य दंडाधिकारी [चतुर्थ] विश्व मोहन अग्रवाल ने मामले की अगली सुनवाई के लिए 18 नवंबर की तारीख तय की।

इस समय सीबीआई विशेष अदालत में छह दिसंबर 1992 को मस्जिद ढहाए जाने के दिन भाजपा नेता लालकृष्ण आडवाणी की सुरक्षा और एस्कार्ट ड्यूटी पर तैनात रहीं आईपीएस अधिकारी तथा सीबीआई की प्रमुख गवाह अंजू गुप्ता के बयान पर जिरह चल रही है जो कि आज अदालत में उपस्थित हुई थीं।

कश्मीर वार्ताकारों की सफलता की कामना - राम जेठमलानी

जेठमलानी ने कहा कि वार्ताकार दिलीप पडगांवकर और उनकी टीम को कश्मीर मुद्दे के शांतिपूर्ण और स्थायी समाधान ढ़ूढने की जो जिम्मेदारी सौंपी गयी है वह अतिमानवीय जिम्मेदारी है, ऐसे में वह कुछ गंभीर गलतफहमी के बाद भी टीम की सफलता की कामना करते हैं।

उन्होंने कहा, ‘‘यदि उन्हें आंशिक सफलता भी मिलती है तो राष्ट्र उनके प्रति कृतज्ञ होगा। हमें अपनी कृत्यों या बयानबाजी के जरिए उनकी मुश्किलें नहीं बढ़ानी चाहिए।’’ उससे पहले पडगांवकर ने कहा था कि पाकिस्तान को शामिल किये बगैर कश्मीर मुद्दे का समाधान संभव नहीं है जिसपर भाजपा ने उनपर कश्मीर मुद्दे का अंतरराष्ट्रीयकरण करने का आरोप लगाया।

भाजपा ने यह भी सवाल किया कि क्या केंद्र ने उन्हें ऐसे बयान देने के लिए कहा है । पार्टी ने प्रधानमंत्री कार्यालय से इस संबंध में स्पष्टीकरण भी मांगा।

अरुंधती राय जैसे लोग ही देश का बेडा गर्क कर देंगे - फारुक अब्दुल्ला

केंद्रीय मंत्री फारक अब्दुल्ला ने कश्मीर के बारे में लेखिका अरंधती राय की टिप्पणी पर तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुये कहा है कि देश के लोग ही देश का बेडा गर्क कर देंगे.

डा. अब्दुल्ला ने आज यहां संवाददाताओं से बातचीत में कहा कि हमारे यहां इतनी आजादी है कि हिंदुस्तान के लोग ही हिंदुस्तान का बेडा गर्क कर देंगे. वह सुश्री राय की इस टिप्पणी पर प्रतिक्रिया व्यक्त कर रहे थे कि कश्मीर कभी भी भारत का अभिन्न अंग नहीं रहा.

सुश्री राय की टिप्पणी से क्षुब्ध डा. अब्दुल्ला ने कहा कि लोग आजादी का फायदा उठा रहे हैं. जिसमें वह कुछ नहीं कर सकते. यह पूछे जाने पर कि क्या यह अभिव्यक्ति की आजादी का दुरुपयोग नहीं है. जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि इस तरह की बातें करने वाले लोगों को स्वयं ही सोचना चाहिये कि वे जो कह रहे हैं. उन्हें वह कहना चाहिये या नहीं.

शिवसेना मुख्यालय में विदेशियों के प्रवेश पर प्रतिबंध

पाकिस्तान के खिलाफ आग उगलने वाली शिवसेना ने विदेशियों को अपनी पार्टी से दूर रखने की कवायद के तहत मध्य मुंबई के दादर स्थित पार्टी मुख्यालय में विदेशियों के प्रवेश पर प्रतिबंध लगा दिया है

पार्टी सूत्रों ने कहा ‘‘लश्कर आतंकी डेविड कोलमेन हेडली द्वारा यह स्वीकार किए जाने के बाद कि उसके द्वारा हमला करने वाले लक्ष्यों में शिवसेना भवन भी शामिल था, पार्टी ने एक अनौपचारिक घोषणा के तहत विदेशियों के पार्टी मुख्यालय में प्रवेश पर प्रतिबंध लगा दिया है । ’’ सूत्रों ने बताया कि विदेशों के कई छात्र शिव सेना भवन आकर पार्टी की कार्यप्रणाली का अध्ययन करते हैं ।

राष्ट्रीय जांच एजेंसी द्वारा की गई पूछताछ में हेडली ने यह भी बताया था कि उसने अपनी मार्च 2009 की दिल्ली यात्रा के दौरान प्रधानमंत्री आवास सात रेस कोर्स रोड के बाहरी परिसर का फिल्मांकन भी किया था ।

राहुल गाँधी पर मानहानि एंव धार्मिक विद्वेष फैलाने का मुकदमा दर्ज

कांग्रेस नेता राहुल गाँधी के राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ और आतंकी संगठन स्टूडेंट्स इस्लामिक मूवमेंट ऑफ इंडिया (सिमी) को एक समान बताने के मामले में सोमवार को भोपाल में एक व्यक्ति ने राहुल उनके खिलाफ मानहानि एंव धार्मिक विद्वेष फैलाने की कोशिश करने का मुकदमा दर्ज कराया।

आशीष कुमार सिंह नामक एक स्थानीय व्यक्ति ने राहुल के खिलाफ यहाँ मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट विजय कुमार की अदालत मे यह वाद कायम कराया, जिसकी स्वीकार्यता पर अदालत मंगलवार को सुनवाई करेगी। अशीष ने अपना मुकदमा धार्मिक विद्वेष फैलाने के कानूनी प्रावधानों और मानहानि के कानूनी प्रावधानों के तहत दाखिल किया है।

राहुल गाँधी ने छह अक्टूबर को भोपाल कथित रूप से कहा था कि आरएसएस और सिमी में कोई अंतर नहीं है क्योंकि दोनों ही एक तरह की कट्टरवादी विचारधारा को आगे बढ़ाते हैं।

आखिर कांग्रेस के एक सदस्य ने भी कर ही दिया अरुंधती के बयान का विरोध

कांग्रेस के एक नेता ने आज प्रसिद्ध लेखिका और सामाजिक कार्यकर्ता अरुंधति राय से कश्मीर पर दिया गया उनका बयान वापस लेने को कहा। पार्टी ने कहा कि उनका बयानऐतिहासिक तथ्यों के विपरीतहै और यह देश और अंतरराष्ट्रीय समुदाय को गुमराह कर सकता है।

कश्मीर में एक संगोष्ठी में अरुंधति द्वारा कल दिए गए बयान पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कांग्रेस सदस्य सत्य प्रकाश मालवीय ने कहा, ‘‘देश के सर्वश्रेष्ठ ज्ञात लेखकों में से एक का इस तरह का गैर जिम्मेदाराना बयान देना वाकई बेहद आश्चर्यजनक है।’’ मालवीय ने कहा, ‘‘उन्हें निश्चित तौर पर अपना बयान वापस लेना चाहिए जो ऐतिहासिक तथ्यों के विपरीत है और यह देश के साथ-साथ अंतरराष्ट्रीय समुदाय को गुमराह कर सकता है।’’

राय ने कल कहा था, ‘‘कश्मीर भारत का कभी अभिन्न हिस्सा नहीं रहा है। यह ऐतिहासिक तथ्य है। यहां तक कि भारत सरकार ने भी इसे स्वीकार किया है।’’ पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा कि अरुंधति को अपनी इतिहास की जानकारी दुरुस्त करनी चाहिए और इस बात को जानना चाहिए कि जम्मू कश्मीर को तब भारत में सम्मिलित कर लिया गया था जब वहां के तत्कालीन महाराजा हरि सिंह ने भारत में शामिल होने के कागजात पर 26 अक्तूबर 1947 को हस्ताक्षर किया था।

उन्होंने कहा, ‘‘उसके बाद अन्य सभी रजवाड़ों की तरह जम्मू कश्मीर भारत का अभिन्न हिस्सा बन गया है।’’

ओबामा को मिन्नते करके बुलाने से सिखों के स्वाभिमान को ठेस पहुंची है

अमेरिकी राष्ट्रपति बराक हुसैन ओबामा की 7 से 10 नवंबर की भारत यात्रा के दौरान श्री दरबार साहिब जाने के रद्द कार्यक्रम को लेकर इन दिनों खबरों का बाजार गर्म है। बराक ओबामा की यात्रा में श्री दरबार साहिब को शामिल किए जाने को लेकर मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल ने प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह को जो पत्र लिखा है, उसकी सिख जगत में बेहद आलोचना हो रही है।

उनकी अपनी ही पार्टी के वरिष्ठ नेता बीर दविंदर सिंह ने कहा है कि किसी को आमंत्रित करने की अपनी मर्यादा होती है, लेकिन मुख्यमंत्री या शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के प्रधान जत्थेदार अवतार सिंह मक्कड़ का उन्हें मिन्नतें करके बुलाया जाना शोभा नहीं देता। इससे सिखों के स्वाभिमान को ठेस पहुंची है।

उधर, शिरोमणि खालसा पंचायत के संयोजक रजिंदर सिंह खालसा ने भी एसजीपीसी के प्रधान अवतार सिंह मक्कड़ और मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल के पत्रों की आलोचना की है। उन्होंने कहा कि श्री दरबार साहिब कोई ताजमहल नहीं है, जिसका नजारा करने के लिए बराक ओबामा को आना चाहिए। यह आस्था का केंद्र है और यदि उनके मन में आस्था है तभी वे आएं। उन्होंने कहा कि श्री दरबार साहिब की एक मर्यादा है, उसे उन्हें निभाना ही होगा।

रजिंदर सिंह ने कहा कि यदि बराक ओबामा के मन में आस्था ही नहीं है तो उन्हें जबरदस्ती बुलाए जाने का कोई तुक नहीं बनता है। ओबामा के न आने से श्री दरबार साहिब के प्रति लोगों की आस्था में कोई कमी नहीं आयेगी


बाबा शेख फ़रीद की दरगाह के पास धमाका, 6 की मौत

पाकिस्तान के पंजाब प्रांत के शहर पाक पट्टन में मशहूर बाबा फ़रीद की दरगाह के बाहर सुबह की नमाज़ के वक़्त धमाका हुआ है. इसमें छह लोग मारे गए हैं.

पुलिस अधिकारी अमजद जावेद सलीमी ने मीडिया से बातचीत में कहा कि इस धमाके में छह लोग मारे गए हैं और 12 लोग घायल हुए हैं. ये धमाका सुबह की नमाज़ के वक्त हुआ, उस दौरान बड़ी संख्या में लोग मौजूद थे.

पुलिस का कहना है कि कई दरगाहों पर हमलों के बाद से सुरक्षा कारणों से नमाज़ के वक्त बाबा फ़रीद की दरगाह के दरवाज़े बंद कर दिए गए थे.

पुलिस ने मीडिया को बताया कि दो लोग मोटरसाइकिल पर आए थे और उससे दूध के डब्बे बंधे हुए थे जिनमें धमाका हुआ.

ऐसा लगता है कि उन डब्बों में विस्फोटक सामग्री भरी हुई थी. पुलिस ने सुरक्षा कारणों से दरगाह को सील कर दिया है.

बिहार में राहुल गांधी की चुनाव सभा में हंगामा

बिहार के सारण जिले में मांझी में कांग्रेस महासचिव राहुल गांधी की चुनाव सभा के बाद वहां कुछ युवकों ने हंगामा मचाया

आधिकारिक सूत्रों ने घटना का विवरण देते हुए बताया कि सभा समाप्ति के बाद जैसे ही राहुल मंच से उतर कर दिल्ली जाने के लिए हेलीकाप्टर की ओर बढ़े, कुछ युवाओं ने नारेबाजी शुरू कर दी।

उन्होंने बताया कि चुनावी सभा समाप्त होने के बाद पीछे की गैलरी में बैठे कुछ युवाओं ने कुर्सियां फेंकीं और जदयू के प्रत्याशी गौतम सिंह के पक्ष में नारेबाजी की।

जिले के जमालपुर थाना प्रभारी उपेंद्र सिंह ने कहा, ‘‘यह बिल्कुल मामूली झड़प थी। हम मामले की जांच कर रहे हैं।’’ सूत्रों ने कहा कि कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने उन्हें काबू में किया।

एक प्रत्यक्षदर्शी ने बताया कि नशे में धुत एक युवक ने राहुल के खिलाफ नारेबाजी की और कांग्रेसी कार्यकर्ताओं ने उसे रोकने का प्रयास किया तो विवाद शुरू हुआ।

उल्लेखनीय है कि राहुल गांधी आज बिहार के पूर्वी चंपारण, गोपालगंज और बेतिया में कांग्रेस प्रत्याशियों के समर्थन में चुनावी सभाओं को संबोधित करने आये थे।

राहुल गांधी को गंगा में फेंक दिया जाना चाहिए - शरद यादव

जदयू नेता शरद यादव ने गांधी नेहरू परिवार पर कड़ी टिप्पणी करते हुए आज यहां कहा कि राहुल गांधी को गंगा में फेंक देना चाहिए।

शरद ने यहां एक चुनावी सभा में नेहरू.गांधी परिवार पर हमला बोलते हुए कहा कि राहुल गांधी को गंगा में फेंक दिया जाना चाहिए । उन्होंने कहा, ‘‘हाथ के चुनाव निशान वाले ये लोग ... यह देश और यह परिवार .. आपके परिवार को शासन करने के लिए पचास वर्ष मिले । मोतीलाल, जवाहरलाल, इंदिरा गांधी, सोनिया गांधी और राहुल गांधी ।

भाषण देते समय कमीज की आस्तीन चढाने के राहुल गांधी के स्टाइल की नकल करते हुए शरद ने कहा था, ‘‘फिलहाल एक नया बबुआ आया है वह इसी तरह कर रहा है ।’’ उन्होंने राहुल पर निशाना साधते हुए कहा, ‘‘आप क्या जानते हैं । कोई कागज पर लिखता है और आपको दे देता है और आप बस इसे पढ देते हैं ... आपको उठाकर गंगा में फेंक दिया जाना चाहिए । लेकिन लोग बीमार हैं . यह देश दुर्भाग्यशाली है ।’’

बाबरी मस्जिद ढहाए जाने वालों को सजा मिलनी चाहिए - सोनिया गाँधी

कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी का मानना है कि अयोध्या विवाद पर इलाहाबाद उच्च न्यायालय की लखनऊ खंडपीठ का फैसला छह दिसम्बर, 1992 को बाबरी मस्जिद ढहाए जाने के कदम को माफ नहीं करता। उनका कहना है कि यह घटना एक शर्मनाक एवं आपराधिक हरकत थी और इसे अंजाम देनेवालों को अवश्य ही सजा मिलनी चाहिए।

कांग्रेस के मुखपत्र कांग्रेस संदेश के ताजा अंक के संपादकीय में सोनिया ने लिखा है, "अयोध्या विवाद पर इलाहाबाद उच्च न्यायालय की लखनऊ खंडपीठ का फैसला छह दिसम्बर, 1992 को बाबरी मस्जिद ढहाए जाने के कदम को माफ नहीं करता; क्योंकि वह एक शर्मनाक एवं आपराधिक हरकत थी, जिसके लिए इस हरकत को अंजाम देनेवालों को अवश्य ही सजा मिलनी चाहिए।"

सोनिया ने लिखा है, "कांग्रेस पार्टी राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद हकदारी मामले में न्यायिक प्रक्रिया के परिणाम का स्वागत करती है। फिर भी हमें अपील दायर होने पर सर्वोच्च न्यायालय के अंतिम फैसले की प्रतीक्षा करनी चाहिए। पार्टी विवाद से सम्बंधित पक्षों द्वारा सौहार्दपूर्ण एवं शांतिपूर्ण समझौते की कोशिशों का स्वागत करती है।"

सोनिया और राहुल गांधी के खिलाफ धोखाधड़ी का मुकदमा

जिले की एक अदालत ने कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी, महासचिव राहुल गांधी, वरिष्ठ नेता मुकुल वासनिक, प्रदेश अध्यक्ष चौधरी महबूब अली और चार अन्य के खिलाफ सुधीर कुमार ओझा को दल का प्रत्याशी नहीं बनाए जाने पर धोखाधड़ी के मामले में शिकायत दर्ज की।

शिकायतकर्ता और अधिवक्ता सुधीर कुमार ओझा का बयान दर्ज करने के बाद मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी रमेश चंद्र मालवीय ने शिकायत दर्ज की। इस मामले में जिन गवाहों के नाम तय किए गए हैं उनके बयान के लिए अदालत ने 27 अक्टूबर की तारीख तय की है।

ओझा ने अपनी अर्जी में कहा है कि वर्ष 2007 में सोनिया गांधी का दुर्गा अवतार में जब एक पोस्टर, पार्टी कार्यालय में लगाया गया था तो उसने उच्चतम न्यायालय के एक वकील एससी महेश्वरी के मध्यस्थता कराने पर सोनिया गांधी, उत्तर प्रदेश कांग्रेस समिति की अध्यक्ष रीता बहुगुणा जोशी और मुरादाबाद के कांग्रेस समिति के अध्यक्ष के खिलाफ दर्ज शिकायत वापस ले ली थी।

ओझा ने दावा किया कि महेश्वरी ने उन्हें भरोसा दिलाया था कि शिकायत वापस लेने के बाद उन्हें (ओझा) उचित इनाम दिलाएंगे। उच्चतम न्यायालय के वकील ने ओझा से शिकायत वापस लेने के एवज में उसे कांग्रेस प्रत्याशी बनाए या पार्टी में एक ऊंचा ओहदा देने का वादा किया था।

शिकायतकर्ता की अर्जी का संज्ञान लेते हुए अदालत ने पूर्व में सोनिया गांधी और अन्य को समन जारी कर व्यक्तिगत तौर पर अपना पक्ष रखने को कहा था, जिसके बाद महेश्वरी मध्यस्थता कराने के लिए हाल में ओझा के घर पहुंचे थे। मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी की अदालत में की गई शिकायत में कहा गया है कि ओझा ने 2007 में सोनिया गांधी के खिलाफ मामला वापस ले लिया था।

26 अक्टूबर को कश्मीर विलय दिवस मनाया जायेगा - आहलुवालिया

जम्मू कश्मीर के भारत में विलय कोपूर्ण एवं अंतिमबताते हुए कई राजनीतिक दलों और संगठनों ने 24 अक्टूबर को जम्मू ने रैलियां निकाली।

रैली का आयोजन जम्मू कश्मीर पीपुल्स फोरम ने किया था जिसमें भाजपा, विहिप, शिवसेना, संघर्ष समिति, आल इंडिया कश्मीरी पंडित कांफ्रेंस, रिवोल्यूशनरी पार्टी, डोगरा लिबरेशन फ्रांट और कई मजदूर संगठन शामिल हुए।

भाजपा सांसद एवं वरिष्ठ नेता एस एस आहलुवालिया ने यहां संवाददाताओं से कहा, ‘‘ जम्मू कश्मीर का भारत में विलय पूर्ण एवं अंतिम है। यह भारत का अविभाज्य और अभिन्न हिस्सा है जैसे जूनागढ़ और हैदराबाद है।’’

उन्होंने कहा, ‘‘ हम जम्मू क्षेत्र के लोगों से 26 अक्तूबर को कश्मीर विलय दिवस मनाने और इस दौरान तिरंगा फहराने, क्षेत्र में रोशनी करने, पटाखा छोड़ने तथा मिठाइयां बांटने का आग्रह करते हैं।’’

आरएसएस को बदनाम करना कांग्रेस की नीतियों का हिस्सा - गडकरी

भाजपा के अध्यक्ष नितिन गडकरी ने कहा कि राष्ट्रीय स्वंयसेवक संघ नेता इंद्रेश कुमार का नाम अजमेर विस्फोट मामलों में आरएसएस को बदनाम करने कीराजनीतिक साजिशके तहत आया है।

गडकरी ने यहां अपने आवास पर संवाददाताओं से कहा, ‘‘यह कांग्रेस द्वारा रची गयी राजनीतिक साजिश है। पार्टी पिछले कुछ दिन से इस पर काम कर रही है और इस तरह उन्होंने आरएसएस का नाम घसीटा है।’’ जब भाजपा अध्यक्ष से पूछा गया कि क्या राहुल गांधी के सिमी और आरएसएस की तुलना करने संबंधी बयान का इस साजिश से कोई नाता है तो उन्होंने कहा राहुल ने जो कहा कि वह कांग्रेस की नीतियों का हिस्सा है।

बिहार में जारी विधानसभा चुनाव के संबंध में गडकरी ने कहा कि भाजपा.जदयू गठजोड़ सत्ता में लौटेगा और अजमेर विस्फोट मामले में संघ नेता का नाम आने से प्रदेश में सत्तारूढ़ गठबंधन पर किसी तरह का असर नहीं पड़ेगा।

गडकरी ने आरोप लगाया कि एक तरफ तो केंद्र सरकार संसद पर आतंकी हमले के दोषी अफजल गुरू को मौत की सजा नहीं दे रही वहीं दूसरी तरफ वह देशभक्त लोगों को बदनाम कर रही है।

सिख विरोधी दंगों में कांग्रेस नेता सज्जन कुमार के विरुद्ध आपराधिक सुनवाई का मार्ग प्रशस्त

दिल्ली की एक अदालत ने 1984 के सिख विरोधी दंगे से जुड़े एक और मामले में वरिष्ठ कांग्रेस नेता सज्जन कुमार के विरुद्ध आपराधिक सुनवाई का मार्ग प्रशस्त कर उनके लिए एक नयी परेशानी खड़ी कर दी है।

अदालत ने कुमार के खिलाफ पहले से चल रही एक मामले की सुनवाई के साथ नए मामले को जोडऩे की दिल्ली पुलिस की मांग खारिज कर दी।

जिला न्यायाधीश एस के सरवारिया ने विशेष जन अभियोजक के आवेदन को यह कहते हुए स्वीकार कर लिया कि 1992 में कुमार के खिलाफ तैयार आरोपपत्र को दूसरे मामले के साथ जोड़ा नहीं जा सकता है जिस पर सुनवाई पहले से जारी है।
सिख विरोधी दंगे के सिलसिले में 1992 में एक आरोप पत्र तैयार किया गया था।

जम्मू-कश्मीर के वार्ताकारों के विचार देश की भावनाओं से अलग - पनून कश्मीर

कश्मीरी पंडितों का मानना है कि जम्मू-कश्मीर के लिए निर्धारित वार्ताकारों के विचार देश की भावनाओं से बिलकुल अलग हैं। पनून कश्मीर (पीके) के अध्यक्ष अश्विनी कुमार श्रुंगू ने कहा कि वार्ताकारों ने जो कुछ भी विचार रखे, वे कश्मीर मामले में पूरे देश की भावनाओं से अलग हैं।

उन्होंने कहा कि वार्ताकारों में से एक, दिलीप पडगांवकर ने कश्मीर मामले को ‘विवाद’ की संज्ञा दी, जो किसी भी तरह से स्वीकार नहीं किया जा सकता।

भाजपा के दवाब पर झुकी सरकार, गिलानी पर दर्ज होगा मुकदमा

केंद्रीय गृह मंत्रालय ने अलगावादी नेता सैय्यद अली शाह गिलानी और कई अन्य लोगों के खिलाफ मामला दर्ज करने के लिए दिल्ली पुलिस को हरी झंडी दे दी है। गिलानी ने इस सप्ताह की शुरुआत में एक सेमिनार में कथित तौर पर 'नफरत फैलाने वाला भाषण' दिया था।

मंत्रालय के उच्च पदस्थ सूत्रों ने बताया कि विधि विभाग से मिले परामर्श में कहा गया है कि प्रथम दृष्टया गिलानी और अन्य के खिलाफ ऐसे वक्तव्य देने का मामला दर्ज किया जा सकता है, जो लोगों के बीच फूट डालने की कोशिश की तरह हो। सूत्रों के मुताबिक दिल्ली पुलिस से कहा गया है कि वह गिलानी के खिलाफ मामला दर्ज करे और पुलिस संभवत: जल्दी ही मामला दर्ज कर ले। वहीं जम्मू-कश्मीर के तीनों वार्ताकारों का बहिष्कार करने की अपील करने वाले गिलानी रविवार को कश्मीर लौट गए। नई दिल्ली में गिलानी के भाषण के बाद भाजपा की ओर से तीखी प्रतिक्रिया आई थी।

भाजपा नेता अरुण जेटली ने कहा था कि ऐसा भाषण अस्वीकार्य है। क्योंकि किसी को भी अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का ऐसा अधिकार नहीं है, जो देश को तोड़ने वाली हो। उन्होंने कहा था कि यह देश के खिलाफ एक अपराध है। वहीं भाजपा नेता के आरोपों पर गृह मंत्री पी चिदंबरम ने कहा था कि गिलानी ने जो भाषण दिया है, दिल्ली पुलिस उसमें कानून के मुताबिक कार्रवाई करेगी। उन्होंने कहा था कि अगर ऐसा पता चलता है कि कानून का उल्लंघन हुआ है, तो दिल्ली पुलिस कानूनन कार्रवाई करेगी।

भाजपा ने पडगांवकर के कश्मीर मुद्दे पर बातचीत में पाकिस्तान को शामिल करने के बयान पर मनमोहन सिंह से स्पष्टीकरण मांगा

भाजपा ने प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह से रविवार को इस बात का स्पष्टीकरण मांगा कि केंद्र द्वारा नियुक्त वार्ताकारों ने क्या सरकार की हिदायत पर यह कहा है कि कश्मीर मामले का स्थाई समाधान पाकिस्तान को शामिल किए बिना नहीं हो सकता है या फिर उसने अपनी हदों को पार किया है।

पार्टी प्रवक्ता निर्मला सीतारमन ने यहां कहा कि जम्मू-कश्मीर मुद्दे के समाधान में मदद के लिए दिलीप पाडगांवकर के नेतृत्व में गठित वार्ताकारों के समूह ने श्रीनगर की अपनी पहली ही यात्रा के दौरान कश्मीर मुद्दे का अंतरराष्ट्रीयकरण कर दिया है। उन्होंने कहा कि पाडगांवकर ने वहां पंहुचने पर मीडिया से कहा कि हम कश्मीर मुद्दे का स्थाई समाधान तलाशने आए हैं। लेकिन पाकिस्तान को शामिल किए बिना स्थाई समाधान संभव नहीं है। पाकिस्तान को शामिल करना ही होगा।

सीतारमन ने प्रधानमंत्री से सवाल किया, वार्ताकार किस पाकिस्तान आयाम की बात कर रहे हैं? उन्होंने कहा, वार्ताकारों की उक्त टिप्पणी से आभास हो रहा है कि वे पाकिस्तान के इस रुख को उपयुक्त बता रहे हैं कि कश्मीर एजेंडा अभी पूरा होना बाकी है। साथ ही पैनल इस मुद्दे पर अलगाववादी हुर्रियत के तर्को को भी आगे बढ़ा रहा है।

प्रधानमंत्री कार्यालय से भाजपा प्रवक्ता ने इस बात का तुरंत स्पष्टीकरण देने की मांग की कि क्या वार्ताकारों ने उन्हें दी गई हिदायातों की सीमा में काम किया है या उसे लांघा है।

पडगांवकर के नेतृत्व में तीन सदस्यीय इस पैनल का गठन किए जाने के बाद वह कल शनिवार को पहली बार कश्मीर पंहुचा। वह एक हफ्ते वहां रहेगा।

सीतारमन ने कहा इसमें कोई संदेह नहीं कि यह पैनल नागरिकों के विभिन्न समूहों से उनके विचार जानने की व्यापक कसरत करेगा। लेकिन ऐसी शुरूआत करने से पहले ही उक्त टिप्पणियां करके वह प्रक्रिया का अनावश्यक अंतरराष्ट्रीयकरण कर रहा है।

उधर, पत्रकार दिलीप पडगांवकर ने कहा कि घाटी के लोग मीठे शब्दों और लंबे चौड़े वादों के बजाय स्पष्ट बातचीत चाहते हैं। पडगांवकर ने कहा कि हमें आए हुए महज एक दिन हुआ है लेकिन हमारा शुरूआती आकलन यह है कि लोग बातचीत चाह रहे हैं। मैं इस समूह या उस समूह की बात नहीं कर रहा। मैं जनता के एक हिस्से की बात कर रहा हूं जिनसे हम मिले हैं। पडगांवकर ने कहा कि कश्मीर का मुद्दा स्वभाव में राजनीतिक है आर्थिक नहीं।

पडगांवकर ने कहा कि हम कल दो घंटे से अधिक समय तक केंद्रीय जेल में रहे और नियंत्रण रेखा के आसपास से आने वाले उग्रवादियों से मुलाकात की। वे हमसे बातचीत करना चाहते थे और हम फिर उनसे मिलने जाएंगे।

वार्ताकारों से बातचीत के बहिष्कार की हुर्रियत के कट्टरपंथी नेता सैयद अली शाह गिलानी की अपील पर पडगांवकर ने कहा कि हमारा यह दल पहले यहां आए लोगों से अलग है। जब पडगांवकर से पूछा गया कि क्या वे उग्रवादियों से बातचीत करेंगे तो उन्होंने कहा कि वे सभी से बातचीत करेंगे।

अमेरिकी अर्थव्यवस्था के विकास में भारतीय नौजवानों का अहम योगदान - तरुण विजय

अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा की आगामी भारत यात्रा का संतुलित ढंग से स्वागत करते हुए भारतीय जनता पार्टी ने आज उम्मीद जतायी कि ओबामा अपनी यात्रा के दौरान आतंकवाद और आउटसोर्सिंग सरीखे मुद्दों पर भारतीय संवेदनाओं को समझेंगे। साथ ही, इस दिशा में दोनों देशों के बीच मजबूत साझेदारी विकसित करने की ओर बढ़ेंगे।

भाजपा प्रवक्ता तरुण विजय ने यहां संवाददाताओं से कहा, ‘ओबामा दुनिया के एक महान लोकतंत्र के प्रतिनिधि हैं। हम उनकी यात्रा का स्वागत करते हुए उम्मीद जताते हैं कि वह वैश्विक आतंकवाद के खिलाफ संघर्ष के लिये भारत के साथ साझा मोर्चा बनाने की दिशा में कदम बढ़ायेंगे।’ उन्होंने कहा कि अगर अमेरिका आतंकवाद के खिलाफ वैश्विक संघर्ष में ईमानदारी से अपनी भूमिका निभाना चाहता है तो उसे निजी हितों से उपर उठना होगा। इसके साथ ही, यह सुनिश्चित करना होगा कि उसकी आर्थिक मदद के इस्तेमाल से पाकिस्तान की जमीन भारत विरोधी आतंकी गतिविधियों के लिये प्रयुक्त न हो सके।

विजय ने कटाक्ष किया कि पाकिस्तान तालिबान का डर दिखाकर अमेरिका से आर्थिक सहायता हासिल करने के ‘कारोबारी पैंतरे’ में पारंगत हो चुका है।

प्रमुख भारतीय विपक्षी दल के प्रवक्ता ने कहा कि आउटसोर्सिंग पर ओबामा की पूर्व की टिप्पणियों के मद्देनजर उनकी पार्टी अमेरिका में भारतीय नौजवानों के रोजगार की सुरक्षा को लेकर चिंतित है।

उन्होंने कहा, ‘इस तथ्य को खारिज नहीं किया जा सकता कि अमेरिकी अर्थव्यवस्था के विकास में भारतीय नौजवानों का भी अहम योगदान है।’ विजय ने जोर देकर कहा कि भारतीय नौजवान किसी के रहमो-करम पर नहीं, बल्कि अपनी बौद्धिक श्रेष्ठता की बदौलत अमेरिकी कंपनियों से रोजगार हासिल करते हैं।

उन्होंने कहा कि भारतीय नौजवानों को रोजगार से वंचित करने का कोई भी अमेरिकी कदम खुद अमेरिका के लोकतंत्र और न्याय तंत्र की मूल भावना के खिलाफ है।

राहुल गांधी अपरिपक्व नेता - राकेश सिंह, भाजपा सांसद

कांग्रेस महासचिव राहुल गांधी कोअपरिपक्व राजनेताबताते हुए मध्यप्रदेश भारतीय जनता पार्टी ने कहा है कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ :आरएसएस: की तुलना सिमी से करने संबंधी उनकी बात में कोई दम नहीं है।

प्रदेश भाजपा कार्यसमिति की आज से यहां आयोजित दो दिवसीय बैठक के अवसर पर संवाददाताओं के सवालों के जवाब देते हुए सांसद राकेश सिंह ने कहा, ‘‘हम राहुल गांधी को ‘अपरिपक्व’ मानते हैं और पार्टी पहले ही आरएसएस संबंधी उनके बयान पर अपनी प्रतिक्रिया दे चुकी है’’।

उन्होंने कहा कि आरएसएस की सिमी जैसे राष्ट्र विरोधी संगठन से राहुल की तुलना में कोई दम नहीं है। कथित तौर पर अजमेर बम विस्फोट में आरएसएस के नेता इंद्रेश कुमार की संलिप्तता संबंधी सवाल पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि ये सभी आरोप बेबुनियाद हैं और इससे पहले भी कई मौकों पर संघ पर ऐसे ही झूठे आरोप लग चुके हैं।

The New Bin Laden

Evil geniuses are a rare breed, even in theranks of Al Qaeda. Those few who planned the attack on the USS Cole in Yemen 10 years ago and the atrocities in America on September 11, 2001, were killed or captured by the spring of 2003, and Osama bin Ladenhas been hard pressed ever since to recruit anyone able to take their place.

But now, at last, he seems to have found his man, and that’s a major reason intelligence services from Washington to Paris to Islamabad have been acting so jittery of late.Ilyas Kashmiri, 46, has the experience, the connections, and a determination to attack the West—including the United States—that make him the most dangerous Qaeda operative to emerge in years.

“This guy ties everybody together,” says a veteran U.S. intelligence officer who has been watching Kashmiri’s rise to prominence closely but is not authorized to speak publicly. Kashmiri fought the Soviets in Afghanistan, and the Indians in Kashmir and in India itself. He also worked with the Pakistani intelligence service, but turned on Islamabad with a vengeance in 2003, trying to murder then-president Pervez Musharraf.

Since then Kashmiri has been linked to planned attacks in Denmark, Germany, France, the United Kingdom, and the United States, most probably Chicago.Today, Pakistani intelligence assets on the ground and American drones in the air hunt Kashmiri relentlessly in the ungoverned tribal areas near Pakistan’s border with Afghanistan. Pakistani officials fear that if Kashmiri carries out another major attack on India or in the West, their country could suffer massive retaliation. A senior Pakistani military officer who tracks militants, and declines to be named for security reasons, says Kashmiri’s “skill, his leadership, and his wide relations with Pakistani and foreign militants make him the most dangerous man for Pakistan, Europe, and the U.S.” Kashmiri agrees.

After erroneous reports that he’d been killed in September 2009, he gave an interview and gloated that the Americans were right to pursue him. “They know their enemy well,” he said. “They know what I am really up to.”

Born in the Pakistani-controlled section of Kashmir in 1964, this veteran terrorist lost an index finger and one of his eyes during the fight against the Soviets in the 1980s. In such photographs as exist, he’s often shown wearing aviator sunglasses. He reportedly changes the color of his thick beard frequently, and it may be white or dyed red with henna, or then again dyed black. But his imposing presence and the deference shown him can still make him stand out.

According to Hafiz Hanif, the pseudonym of a 16-year-old Afghan who fought in Al Qaeda’s ranks last year, Kashmiri’s status as a bin Laden favorite was obvious. Kashmiri rode in a new four-wheel-drive pickup truck flying a white flag. Most of the Qaeda leadership is from the Arab world, not South Asia, but Kashmiri attended nearly all the top-secret terrorist summits held in North Waziristan. Hanif, who often acted as a bodyguard for a high-ranking Libyan Qaeda leader, says Kashmiri was the only non-Arab he saw attending strategy sessions. “He came to the most restricted meetings of the Arab mujahedin,” Hanif told Newsweek last week.

“He could go to meetings and to areas that were off-limits to some Arab Al Qaeda leaders.”Kashmiri is so active organizing and carrying out guerrilla-style attacks that the jihadis have taken to calling him “the commando commander,” says Hanif. The key to such operations is preparation, and Kashmiri is an acknowledged master. “Kashmiri is the most experienced person in planning, choosing targets, and getting men ready,” says one Pakistani intelligence officer. His reputation for murder and mayhem in the subcontinent goes back years, but—this is what has set off alarm bells in Europe—his current project is to nurture jihadis from the West.

“He took care of the special training of chosen newcomers, especially Westerners,” says Hanif. A European intelligence officer tells NEWSWEEK, “Kashmiri is the most important guy linking Al Qaeda with Western recruits.”In August, the U.S. Treasury Department named Kashmiri as a “specially designated global terrorist,” putting him in the same league with bin Laden and Ayman al-Zawahiri, men to whom he has pledged allegiance for the past seven years.

Treasury singled out his organization, the Harkat-ul-Jihad al-Islami, for providing “support for Al Qaeda operations.”Exactly how far Kashmiri might reach is evident from charges brought against him by the U.S. Justice Department for his work running an agent named David Coleman Headley, a Pakistani-American (originally named Daood Gilani) now serving a life sentence in the United States for terrorist-related offenses. According to Justice, Headley cased the main targets for the attacks in Mumbai two years ago by the Pakistani extremist group Lashkar-e-Taiba that killed 164 Indians and foreigners.

What role Kashmiri played in that massacre remains unclear, but last year Justice charged that Kashmiri was working with Headley in late 2008, immediately after Mumbai, to plot new attacks in India—and the West.A federal indictment leveled against Kashmiri in absentia last January says Kashmiri played a key role in the Qaeda-linked plot to attack the Copenhagen newspaper offices of Jyllands-Posten, which published insulting cartoons of the Prophet Muhammad in 2005 and remains a target for Muslim radicals. Headley reconnoitered the newspaper’s offices and a nearby synagogue on Kashmiri’s orders, then met with Kashmiri at least twice in North Waziristan to report back. Headley was arrested at Chicago’s O’Hare airport in October 2009 heading to Pakistan to meet with Kashmiri again.

Nor was Headley the only Kashmiri contact believed to be operating in America. According to Justice Department transcripts of secretly recorded conversations between an undercover agent and 56-year-old Raja Lahrasib Khan, a naturalized U.S. citizen, Khan sought guidance from Kashmiri, whom Khan called “Lala,” on how best to stage a terrorist bombing in a crowded stadium. “Put one bag here, one there, one there—you know, three, four, five different places … boom, boom, boom, boom,” Khan said. He was arrested in March and has pleaded not guilty to charges that he’d sent money to Al Qaeda.

Today, Kashmiri is believed to be a key facilitator in Al Qaeda’s plan to carry out Mumbai-style commando attacks in Europe, particularly in Germany, France, and the U.K. Ahmed Siddiqui, a German national of Afghan descent who had worshiped at a now-shuttered mosque in Hamburg along with September 11 attacker Mohamed Atta, has told interrogators that he and other Germans were part of a conspiracy to launch a commando attack in Europe.

Terrorists at LargeSiddiqui, who trained under Kashmiri before he was arrested in Afghanistan this past summer, reportedly has told interrogators that at a “campfire chat” in North Waziristan earlier this year Kashmiri told him that he had already dispatched advance teams to Britain and Germany. Siddiqui’s confessions led to a spate of Predator attacks in the tribal area in September and October, most of them aimed at hitting the “white jihadis” and cells believed to be involved in the planned European attacks.

At least four Germans were killed in one Predator strike in North Waziristan.But not Kashmiri. Indeed, his escape from the Hellfire missiles aimed at him last year is the stuff of legend already, and the more he is targeted, and the longer he survives, the more that legend grows. According to the chatter among jihadis serving with the young Hanif last year, the drone fired its missiles at the correct house, but Kashmiri had gone outside into the bushes to urinate just before the strike.

In the interview Kashmiri gave an Asia Times reporter a few weeks later, Kashmiri said the attacks in Mumbai were “nothing to what has been already planned for the future.” This evil genius is still at large, and at work.

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